नमस्कार दोस्तो स्वागत है आपका भारत आइडिया में तो दोस्तो आज हम बात करने वाले है राम रहीम के बारे जिस को पत्रकार रामचंद्र छत्रपति हत्याकांड में सीबीआई की विशेष अदालत ने गुरुवार को गुरमीत राम रहीम समेत चारों आरोपियों को उम्रकैद की सजा सुनाई. विशेष जज जगदीप सिंह ने वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए फैसला सुनाते हुए कहा कि उम्रकैद की सजा दुष्कर्म मामले में दी गई 20 साल की सजा पूरी होने के बाद शुरू होगी.पर इसके साथ ही एक और खुलासा हुआ है राम रहीम और उसकी प्रेमिका के बारे में तो आइए जानते है क्या है पूरी खबर .
क्या है खबर :
राम रहीम और हनीप्रीत को लेकर एक बेहद चौंकाने वाला खुलासा हुआ है.डेरे के एक पूर्व सेवादार ने सनसनीखेज खुलासा किया था कि राम रहीम अपनी हनीप्रीत से एक बच्चा चाहता था, जिसे वो डेरे प्रमुख बनाए. पूर्व सेवादार गुरदास सिंह तूर का आरोप था कि ये आइडिया खुद हनीप्रीत का था. वो नहीं चाहती थी कि राम रहीम के बाद डेरा का उतना बड़ा साम्राज्य उसके बेटे जसमीत सिंह इंसां को मिले.गुरदास सिंह तूर के मुताबिक, राम रहीम के बाद डेरे में हनीप्रीत का दबदबा नंबर दो जैसा बन चुका था, इसलिए वो चाहती थी कि राम रहीम और उसका कोई बच्चा हो तो वही डेरे का मुखिया बने.राम रहीम भी इसके लिए राजी था और चाहता था कि बच्चे के पिता का नाम दुनिया की नजरों में विश्वास गुप्ता ही रहे, लेकिन उनकी चाल भांप कर विश्वास ने पहले ही तलाक लेकर इनके अरमानों पर पानी फेर दिया.
राम रहीम और हनीप्रीत को लेकर एक बेहद चौंकाने वाला खुलासा हुआ है.डेरे के एक पूर्व सेवादार ने सनसनीखेज खुलासा किया था कि राम रहीम अपनी हनीप्रीत से एक बच्चा चाहता था, जिसे वो डेरे प्रमुख बनाए. पूर्व सेवादार गुरदास सिंह तूर का आरोप था कि ये आइडिया खुद हनीप्रीत का था. वो नहीं चाहती थी कि राम रहीम के बाद डेरा का उतना बड़ा साम्राज्य उसके बेटे जसमीत सिंह इंसां को मिले.गुरदास सिंह तूर के मुताबिक, राम रहीम के बाद डेरे में हनीप्रीत का दबदबा नंबर दो जैसा बन चुका था, इसलिए वो चाहती थी कि राम रहीम और उसका कोई बच्चा हो तो वही डेरे का मुखिया बने.राम रहीम भी इसके लिए राजी था और चाहता था कि बच्चे के पिता का नाम दुनिया की नजरों में विश्वास गुप्ता ही रहे, लेकिन उनकी चाल भांप कर विश्वास ने पहले ही तलाक लेकर इनके अरमानों पर पानी फेर दिया.
खुद ही राम रहीम ने हनिप्रित की शादी करवाई :
वहीं, इस मामले का एक और चश्मदीद सामने आया है, जो उस रात का गवाह है, जब शादी के बाद पहली बार हनी बाबा की गुफा में गई थी.राम रहीम के ड्राइवर रहे खट्टा सिंह के बेटे गुरदास सिंह हनीप्रीत और बाबा के रिश्तों के एक अहम चश्मदीद हैं. राम रहीम ने ही हनीप्रीत की शादी करवाई. उसके फौरन बाद एक रात हनीप्रीत को अपनी गुफा में रहने के लिए बुला लिया. गुरदास उस रात गुफा के बाहर तैनात था.
वहीं, इस मामले का एक और चश्मदीद सामने आया है, जो उस रात का गवाह है, जब शादी के बाद पहली बार हनी बाबा की गुफा में गई थी.राम रहीम के ड्राइवर रहे खट्टा सिंह के बेटे गुरदास सिंह हनीप्रीत और बाबा के रिश्तों के एक अहम चश्मदीद हैं. राम रहीम ने ही हनीप्रीत की शादी करवाई. उसके फौरन बाद एक रात हनीप्रीत को अपनी गुफा में रहने के लिए बुला लिया. गुरदास उस रात गुफा के बाहर तैनात था.
क्या हुआ था पहली रात के बाद :
गुरदास सिंह को उस रोज पहली बार शक हुआ था कि राम रहीम हनीप्रीत के साथ कुछ गलत करने जा रहा है. अगली सुबह हनीप्रीत बाबा की गुफ़ा से रोती हुई बाहर निकली थी.उन दिनों खुद हनीप्रीत के दादा डेरे के खजांची हुआ करते थे. हनीप्रीत सीधे दादा के पास गई.उसकी ये हालत देख कर उसके दादा ने डेरे में काफी हंगामा किया. राम रहीम के खिलाफ खुल कर बोलने लगे.लेकिन उन्हें चुप करा दिया गया.बाद में हनप्रित भी बाबा के साथ रहने को राजी हो गई और अपनी नई चाल चली कि उसको बच्चा हो और वो डेरे का उत्तराधिकार बने.
गुरदास सिंह को उस रोज पहली बार शक हुआ था कि राम रहीम हनीप्रीत के साथ कुछ गलत करने जा रहा है. अगली सुबह हनीप्रीत बाबा की गुफ़ा से रोती हुई बाहर निकली थी.उन दिनों खुद हनीप्रीत के दादा डेरे के खजांची हुआ करते थे. हनीप्रीत सीधे दादा के पास गई.उसकी ये हालत देख कर उसके दादा ने डेरे में काफी हंगामा किया. राम रहीम के खिलाफ खुल कर बोलने लगे.लेकिन उन्हें चुप करा दिया गया.बाद में हनप्रित भी बाबा के साथ रहने को राजी हो गई और अपनी नई चाल चली कि उसको बच्चा हो और वो डेरे का उत्तराधिकार बने.